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यूपी : जिला मुफ्ती जाहिद अली खान बोले - ज्ञानवापी मस्जिद से पहले वहां था मंदिर

यूपी : जिला मुफ्ती जाहिद अली खान बोले - ज्ञानवापी मस्जिद से पहले वहां था मंदिर

वाराणसी: ज्ञानवापी मस्जिद में शिवलिंग नुमा पत्थर निकलने के बाद देश भर में राजनीति गरमा गई है। जिसके मिलने के बाद हिन्दू धर्म के लोगों का कहना है कि मस्जिद में मिला पत्थर शिवलिंग है।


वहीं मुस्लिम समुदाय ने उस पत्थर को फब्बारे होने का दावा किया है। पत्थर मिलने के बाद मामला न्यायालय में पहुंच गया है और उस पत्थर को जांच एजेंसियों के हवाले करते हुए मामला न्यायलय में विचाराधीन है। वहीं इस मामले के बाद देश मे फिर एक बार हिन्दू मुस्लिम राजनीति शुरू हो गई। वहीं पत्थर मिलने के बाद राजनैतिक पार्टियों ने तरह तरह की बयानबाजी भी शुरू कर दी है।

वहीं इस मामले पर जिला मुफ़्ती व अमुवि के पूर्व प्रोफेसर जाहिद अली खान बड़ा बयान सामने आया है। जाहिद अली का कहना है कि औरंगजेब के शासनकाल में एक हिंदू राजा औरंगजेब के साथ वहां गए हुए थे, उन्होंने वहां गंगा स्नान किया और कहा कि हम मूर्ति के दर्शन करना चाहते हैं, उस दौरान अकबर के जमाने में राजा टोडरमल फाइनेंस मिनिस्टर थे और राजा मानसिंह जो चीफ आर्मी ऑफिसर व डिफेंस मिनिस्टर थे, उस दौरान सरकारी खजाने से वहां मंदिर को बनाया गया था, तो उसी दौरान जब औरंगजेब व एक हिंदू राजा वहां गंगा स्नान के बाद दर्शन करना चाहते थे तब वहां से एक रानी गायब पाई गई।

जाहिद अली खान के मुताबिक, वही जब रानी को तलाशा गया तो रानी नग्न अवस्था मे तैखाने में मिली और उनके साथ दुष्कर्म हुआ था, लिहाजा उस दौरान हिन्दू राजा ने कहा कि रानी के दुष्कर्म के बाद ये जगह अपवित्र हो गयी है और इस जगह को ढहा दिया जाए, उसी दौरान सहमति से उस मंदिर को ढहा दिया गया और वहां मस्जिद बना दी गयी थी, हालांकि वहां की जो मूर्तिया थी वो वहीं इधर की उधर कर दी गई